परिचय

रविंदर टमकोरिया हिंदी भाषा के कवि और रचनाकार है जो अपने उपनाम ‘व्याकुल’ के नाम से अपने विचारों को कविता एवं कहानी के रूप में प्रस्तुत करते आ रहे हैं। व्याकुल को कविता लेखन की प्रेरणा अपने पिता श्री राजकुमार टमकोरिया से मिली जो खुद भी एक रचनाकार थे और उन्होंने अपने उपनाम राजकुमार ‘अकेला’ के नाम से कई रचनायें लिखी। ‘व्याकुल’ की रचनाओं में देश-प्रेम, सामाजिक चेतना एवं मानव मूल्यों का समावेश दिखाई पड़ता है। कवि का विचार है की मनुष्य ने भौतिक एवं वैज्ञानिक क्षेत्र में तो प्रगति कर ली है परन्तु उसकी आद्यत्मिक प्रगति रुक गयी है।
कवि मुंबई स्थित “फ़िल्म राइटर्स एसोसिएशन” के सदस्य है और लेखन के क्षेत्र में लगातार कार्य कर रहे हैं। इनकी कई रचनाओं को प्रतिष्ठित मंच से सम्मानित किया जा चूका है, जिनमे हिन्द युग्म प्रकाशन, साहित्य २४ आदि कुछ उल्लेखनीय नाम है। 

दृष्टिकोण

    ‘अपनी नज़र – अपना नज़रिया ‘

—रविंदर टॉमकोरिया ‘व्याकुल’

( जल्द ही प्रकाशित होंगी )

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